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गुरुवार, 28 अप्रैल 2011

दिल्ली जाने वाले यात्री अपनी सीट संभाल लें --- ललित शर्मा

घड़ी की टिक-टिक के साथ वह घड़ी भी समीप आ रही है जब परिकल्पना साकार होगी, जब ब्लॉगोत्सव महाकुंभ दिल्ली में ब्लॉगर आभासी दुनिया से बाहर निकल कर आपस में स्नेह भाव से भेंट करेंगे। छतीसगढ से दिल्ली जाने वाला स्पेसयान लांचिग प्लेटफ़ार्म पर तैनात कर दिया गया है। मुख्य पायलट बी एस पाबला जी ने को-पायलट जी के अवधिया के साथ स्पेसयान लांच करने की सभी प्रारंभिक तैयारियां पूरी कर ली है, उल्टी गिनती चालु है, दिल्ली पहुंचने वाले यात्री अपनी सीट संभाल लें, फ़िर न कहना कि जादू नहीं दिखाया। हम भी तैयार हैं, हिन्दी भवन भी तैयार होकर खुशदीपों का आलोक प्रसारित कर रहा है। 21 मई से पहले हमने भी सोचा कि ब्लॉगर मित्रों से मिल ही लें, जादू की जप्फ़ी पा लें, यारां नाळ रज्ज के मिलना और मिल कर आनंद लेना, यही जीवन का उद्देश्य है।

ब्लॉग इतिहास रचा जा रहा है। जिसका साक्षी होना मेरे लिए और मित्रों के लिए गर्व की बात है। अल्लामा इकबाल ने कहा है – “हमे भी याद रखना जब लिखें तारीख़ गुलशन की”। जब अल्लमा इकबाल इतिहास में दर्ज होना चाहते हैं तो ब्लॉगर तो विशुद्ध ब्लॉगर ठहरे, कौन ब्लॉगर कम है, जिन्होने इतिहास बनाया है, वे इतिहास लिखेंगे और इतिहास में दर्ज भी होगें। परिकल्पना साकार होकर मूर्त रुप ले रही है। जिसका समय को इंतजार था कि ब्लॉगिंग पर कुछ सार्थक कार्य हो। वह अब होने जा रहा है। जिस पर ब्लॉग जगत को गर्व होगा। सभी मित्रों को परिकल्पना ब्लॉगोत्सव द्वारा खुला आमंत्रण है। संगीता पुरी जी झारखंड से दिल्ली के लिए चल पड़ी हैं।

छतीसगढिया यात्रा दल स्पेसयान के साथ
कुछ चीलगाड़ी में भी आएगें, कुछ अपने वाहनो से, कुछ सरकारी वाहनों से। हमने सोचा कि जब देश के विज्ञानियों ने बहुत तरक्की कर ली है अब ब्लॉगर कुंभ स्पेशल स्पेशयान से ही पहुंचा जाए। खुब जमेगा मेला जब मिल बैठेगें दीवाने ब्लॉगर। पिछले समय ब्लॉगर मिलन का अपुर्व आनंद आया। उसका अहसास ही गुंगे के गुड़ जैसा है। हमारा स्पेस शटल लैंड करेगा पवन चंदन जी की चौखट पे। वहीं से आगे का कार्यक्रम तय किया जाएगा। चौखट के लिए स्पेसयान रायपुर से चलेगा जिसमें हम, अल्पना देशपाण्डे जी, जी के अवधिया जी सवार होगें। उसके पश्चात दुर्ग से संजीव तिवारी जी सवार होगें। भाई अशोक बजाज जी अपने लाल बत्ती वाले यान में पहुंचगें। सुबह के नास्ते में इडली का स्वाद लिया जाएगा राजनांदगाँव में, दोपहर का खाना नागपुर में होगा। जहाँ सूर्यकांत गुप्ता जी मौजूद रहेगें। शाम को घोड़ा डोंगरी में चाय का इंतजाम है ससुराल वालों ने, उसके पश्चात रात का खाना भोपाल से प्रारंभ होगा जो बीना तक चलेगा। बीना में आधा घंटा चहल कदमी करके स्वास्थ्य का ध्यान रखा जाएगा और वहीं से जबलपुरिया साथियों का स्पेश शटल गिरीश बिल्लौरे के नेतृत्व में इसी स्पेशयान से जुड़ जाएगा।

जबलपुरिया शटल
दिल्ली बहुत दूर है उनके लिए, जिन्होने अपने दिल के दरवाजे बंद कर रखे हैं। दिल्ली के लिए दिल के दरवाजे खूले रखना आवश्यक है। यह बात तत्कालीन रक्षामंत्री जार्ज फ़र्नांडीज ने अच्छी तरह समझी थी। उन्होने कृष्ण मेनन बंगला नम्बर 3 के दरवाजे ही उखड़वा दिए थे। ताकि कोई भी बेरोकटोक प्रवेश कर सके। हमारे पास बंगला तो नहीं है दिल्ली में, पर दिल जरुर है, उनकी सीख काम आई और दिल की चौखट से किवाड़ ही निकलवा दिए हमने। तभी न दिल्ली में ब्लॉगर मित्र खुले दिल से मिलते हैं और हर मुलाकात अविस्मरणीय होती है। खटाखट कैमरे चलते हैं, धड़ाधड़ पोस्ट लिखी जाती हैं, ब्लॉग जगत को पल-पल की सूचना दी जाती है। जिसे देख के किसी भी वी वी आई पी कहाने वाले को ईर्ष्या हो सकती है, कहने का मतलब यह है कि रज्ज के मजा लिया जाता है और हिन्दी ब्लॉगिंग के विकास पर गंभीर सार्थक चिंतन किया जाता है।

जब रविन्द्र प्रभात जी ने परिकल्पना उत्सव प्रारंभ किया था तो हमने भी नहीं सोचा था कि यह ब्लॉग़िंग के इतिहास में मील का पत्थर बनने जा रहा है। ब्लॉगोत्सव ने सफ़लता के झंडे गाड़ दिए। अविनाश वाचस्पति जी, रश्मि प्रभा जी एवं रणधीर सिंह सुमन जी, जाकिर अली “रजनीश” भी परिकल्पना उत्सव में सक्रीय सहभागी रहे, ब्लॉगत्स्व समिति में मुझे भी स्थान दिया गया। रविन्द्र जी गत कई वर्षों से ब्लॉग़ विश्लेषण कर रहे हैं। नए-पुराने सभी ब्लॉग पर उनकी पैनी नजर रह्ती है। यह श्रम साध्य कार्य्र है, एग्रीगेटर बंद होने से यह कार्य और भी कठिन हो गया है। तब भी ब्लॉग समीक्षा का कार्य निरंतर जारी है। ब्लॉग इतिहास पर पहली पुस्तक एवं हिन्दी ब्लॉगिंग अभिव्यक्ति की नई क्रांति का प्रकाशन किया गया है, इनका विमोचन भी कार्यक्रम के दौरान होना है।ब्लॉगोत्सव की पूरी टीम को साधुवाद।

40 टिप्‍पणियां:

  1. आप सभी को धन्यवाद... देखिये मैं भी प्रयास करूंगा पहुंचने का..

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  2. bdhaai ho lalit bhaai kuchh anubhvon kaa laabh or sikh hmen bhi denaa .akhtar khan akela kota rajsthan

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  3. आप लोग आइये हम लोग तैयार हैं स्वागत के लिए....

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  4. प्रेम के यह सिलसिले दिलदार यूँ ही चलते रहे,
    मिलने-जुलने की आड़ में यह दिल यूँ ही मिलते रहें,

    इस बहाने ही सही, आपस में कुर्बत तो बढे
    यह प्रेमरस बंटता रहे, यूँ इश्कियां फूल खिलते रहें!

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  5. आइये दिल्ली में आपसबका स्वागत है....

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  6. ब्लॉगोत्सव की पूरी टीम को साधुवाद।


    अनेक शुभकामनाएँ.

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  7. उड़न तश्तरी भेजूँ क्या मित्रों...सांय सांय पहुँचा देगी... :)

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  8. @Udan Tashtari

    समीर भाई पहले क्यूँ नहीं बताया, स्पेसयान का किराया तो भर ही चुके हैं, अगले कार्यक्रम में उड़नतश्तरी का प्रयोग किया जाएगा। :)

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  9. प्लेन को कोटा से उ़ड़ा कर ले चलें। यहाँ एक पुराना एयरोड्रम है उतरने मे दिक्कत नहीं होगी। हम भी उसी में बैठ चलेंगे।

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  10. हम पहले ही पहुँच चुके है .......आपका स्वागत करने के लिए .....आप आइये ......!

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  11. हम आए हैं आपकी चौखट पर
    आप आएंगे हमारी चौखट पर
    खटकेगी नहीं चौखट जी
    खट खट करेगी चौखट ही
    मेल मिलाएगी
    सबको हंसाएगी
    दिल मिलाएगी चौखट ही
    चौखट ही हिंदी ब्‍लॉगिंग का

    चौखटा निखारेगी

    हम सब देख रहे हैं

    अविनाश वाचस्‍पति की अगुवाई में।

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  12. इस बार न सही अगली बार के लिए मेरी भी सीट रिजर्व कर लेना भाई लोग !
    आपका सब का प्यार यू ही निरंतर बढ़ता रहे --मेरी हार्दिक शुभकामनाए है --
    मेरी तरफ से एक-आध प्लेट पर हाथ साफ कर देना --धन्यवाद ललित भाई !

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  13. शायद पहली बार किसी को उड़न तश्तरी देने का ऑफर दिया गया है ! यह मौका छोड़ना नहीं चाहिए ! उड़न तश्तरी की पार्किंग मैं अपने यहाँ कराने के लिए तैयार हूँ ! एक बार हाथ तो लगे ....
    शुभकामनायें आपकी टीम को !

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  14. बहुत मजा आया शर्मा जी।
    मेरा नाम भी तो डालिये। मैं भी तो आ रहा हूँ हाँगकाँग से। दिल्ली में चार दिन का टूर है उन्हीं दिनों तो मैं पहँच रहा हूँ भाई। दुष्ट ही सही पर ब्लॉगर तो हूँ। ही ही थैंक यू इन एन्टिसिपेशन।

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  15. क्या प्रिय भाई राजकुमार ग्वालानी नहीं आ रहे हैं आपके पुष्पक में।
    हम लोग समझ सकते हैं कि वो लोकल खेल रिपोर्टिंग में काफी व्यस्त रहते हैं, लेकिन उनसे थोड़ा वक्त निकालने का निवेदन हमारी तरफ से कीजिये। दिल्ली उनके दीदार करना चाहती है।

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  16. बहुत खूब ....
    शानदार पोस्ट .....
    आप सभी को बहुत बहुत बधाई ....
    हमने तो यहीं से मजे ले लिए ......

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  17. deelli bula rahi hai......

    aap sab ka swagat hai........

    jai baba banaras...................

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  18. सभी उड़ान यात्रियों को मेरी शुभकामनाएं जाइये और राज्य का नाम रौशन कीजिये

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  19. ब्लॉगोत्सव की पूरी टीम को हार्दिक बधाई...

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  20. रविन्द्र प्रभात जी के साथ साथ ब्लागोत्सव की पूरी टीम को बहुत-बहुत हार्दिक शुभकामनायें ....

    प्रयास प्रणम्य है .......अवश्य सफल होगा

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  21. ब्लॉगोत्सव की पूरी टीम को हार्दिक-हार्दिक बधाई...

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  22. आभासी दुनिया के मेले लगेंगे,अफ़सोस हम न होंगे :(
    ढेर सारी शुभकामनाये आप सभी यात्रियों को.

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  23. स्पेसयान पान कुछ नहीं है, सीधी कहो कि गोंडवाना एक्सप्रेस है।
    आओ भई, मेट्रो वाले भी तैयार हैं।

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  24. दिल्ली की मुलाकात दिलदारों से जब होगी तो क्या खूब समां बंधेगा इसकी कल्पना से ही मन रोमांचित है । आईये जी आपकी पूरी टीम का स्वागत करती है दिल्ली ...स्वागत ..स्वागत ...स्वागतम ।

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  25. अजी जब उडने वाली बेलगाडी खरीद ही ली तो, दिल्ली की जगह जरमनी की तरफ़ मोड , यही हम दिल्ली का मजा ले ले गे,या फ़िर सब को यही ले आओ आजकल मोसम भी बहुत अच्छा हे,

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  26. अफसोस हम तो पहुँच ही नहीं पाए.

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